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Sana Johar

Romance

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Sana Johar

Romance

आँखों से बात करते रिश्ते

आँखों से बात करते रिश्ते

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रिश्ते जब अनकहे थे, तब आँखों से बातें होती थी,

बिन मुलाक़ात, बस फ़िक्रों से जज़्बातें होती थी ।


ना कोई शर्त थी मोहब्बत में, ना हक़दार था कोई,

मिलता था सुकून एक दूसरे से,

ना ही मोहब्बत से बेज़ार था कोई।


तकलीफ़ तब भी होती थी,

जब कोई अहमियत किसी और को देते थे,

पता था उन्हें भी बस एक दूसरे की मोहब्बत के

इक़रार का इन्तज़ार वो करते थे।


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