पश्चाताप की ज्वाला पार्ट - 2
पश्चाताप की ज्वाला पार्ट - 2
जीया अपने तीसरे बच्चे को देख खुश रहती ...वह बडा ही सुंदर गोल मटोल बच्चा था लेकिन इन सब में जीया की सेहत पहले से भी बदतर हो चली थी एक दिन हालत इतनी बिगडी कि अस्पताल में दाखिल कराना पडा | नन्नू व रिन्कू बच्चे को पूरी तरह संभाल रहे थे उनके पापा माँ के साथ अस्पताल में थे |
…..थोडे समय के लिए वह अस्पताल से घर आये तो रिन्कू व नन्नू ने जिद की कि वह भी माँ को देखने जायेगे वह कैसी है, उन्होने कहा कि यदि वह उनके के पास जायेगे तो निक्की को कौन संभालेगा रिन्कू ने कहा, “मौसी संभाल लेगी पापा !”
“मै उनसे नही कहूंगा उसे सिर्फ अपने बच्चे ती फिक्र है तुम लोगो की नही, तुम्हारी मां की सगी बहन को तुम्हारी परवाह नही अपने बच्चे और पति की ही फ्रिक है |”
दोनो उदास हो गये उन्हे भी अब यह अहसास हो चला था पापा सच कहते है मां भी उन्ही की वजह से अस्पताल में है |
नन्नू जानता था कि इस बार मौसा जब मां को डॉ0 के इलाज के बहाने ले गये थे तो मौसा ने मां अंधेरे कमरे में बन्द कर बहुत टार्चर किया था कहा था,
“दोनो बहनों को जान से मार डालुंगा अगर ससुर की जमीन
जायदाद और बिजनेस को उसके नाम नही किया और यह भी कहा कि अगर मुंह खोला तो तो जीया के पति और बाप को ठिकाने लगा देगा |”
नन्नू ने सारी बातें चुपचाप सुनी थी वह बडा समझदार हो चुका था इसलिए अपनी बहन रिन्कू व निक्की का ध्यान रखता था उसे लगने लगा मौसा उसकी बहनों को भी मार डालेगा अब वह मौसा से दूर रहता व पापा की बात मानने लगा था रिन्कू वह कुछ नही समझती थी उसे बस मौसी की तरह ही बनना था | मां अस्पताल में थी कोई चिन्ता नही बस शीशे आगे खडी रहती अधिकतर | यह सब देख नन्नू बहुत गुस्सा करता, पापा का वक्त मां की देखभाल में जा रहा था ….इसी का फायदा रिन्कू ने उठाया छोटी बहन को छोड अपनी सहेलियों के साथ घुमती फिरती पढाई से जी चुराती जबकि नन्नू बडे भाई का फर्ज निभा रहा था | पढाई के साथ साथ घर की जिम्मेदारी संभाल ली मां के लिए खाना बनाता, छोटी बहन निक्की की देखभाल करता वह उसका मां व बाप दोनो बन गया |
अस्पताल में मां की सीरीयस हालत देख, उसकी रूलाई न रूकी |