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Shafali Gupta

Inspirational

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Shafali Gupta

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नारी मूर्ति नहीं इन्सान है

नारी मूर्ति नहीं इन्सान है

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नारी एक मूर्ति नहीं है एक देवी की मूर्ति है या ये कहना चाहिए की हमारे देश मे सारी देवियाँ एक नारी है। नारी की शक्ति के आगे तो भगवान् भी झुक जाते है सावित्री में वो शक्ति थी की वो अपने पति सत्यवान्ं को यमराज से छीन लायी थी। नारी अगर एक माँ,बहन,बेटी,बहू है तो वक्त आने पर शक्तिशाली बनकर सब सम्यसा का सामना अकेले ही कर सकती है। नारी मे बहुत दर्द सहने की ताकत होती है।

इसलिए भगवान ने शायद नारी को ही बच्चा पैदा करने का वरदान दिया है क्युकी वो बहुत शक्तिशाली होती है। जो लोग नारी को एक मूर्ति समझते है वो खुद एक मूर्ख है। उन्हे नारी की शक्ति का अन्दाजा नहीं है।

वो यह भूल जाते है की वो जिस नारी को मूर्ति कहते है वो ही नारी उन्हे दुनिया मे लायी है नहीं तो वह दुनिया मे न आ पाते और ना ही उन्हे कोई हक होता नारी को मूर्ति कहना का।

हे मेरे भोले इन्सान नारी मूर्ति नहीं है उसमे एक ऐसी शक्ति है जो घर को घर बनाती है और ऐसे इन्सान जो उन पर अत्याचार करते हैं उनको भी वो हस्कर टाल जाती है। नारी को अब मूर्ति कहने वालो हो जाओ सावधान क्युकी एक नारी मूर्ति नहीं है उसकी शक्तियो से तुम हो अंजाम।

हे समाज के लोगो नारी को ना समझो कमजोर नारी के कही रूप है जिसे तुम कभी ना सम्झोगे लगा लो कित्ना भी जोर। नारी और पुरुष का दर्ज़ा समान है उसमे छोटे बड़े का भेद नहीं है नारी मे है शक्ति सारी फिर क्यू नारी को कह बिचारी। नारी की सुरक्षा मे ही समाज की सुरक्षा है। नारी और बेटियो को कमजोर और भोज मानने वाले लोगो ये बात समझ जाओ की जो नारी का अपमान करता वो भगवान का अपमान करता है और भगवान का अपमान करने वाले को कभी माफी नहीं मिलती।


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