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डाॅ.मधु कश्यप

Inspirational

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डाॅ.मधु कश्यप

Inspirational

खुद को व्यस्त रखता हूँ!!

खुद को व्यस्त रखता हूँ!!

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बहुत पहले की बात है। मैं अक्सर अपने मौसी के यहाँ जाया करती थी। वहाँ मैं हमेशा भैया को देखती थी। वे हमेशा काम में व्यस्त रहते थे।कभी आराम नहीं करते थे। मैं उनसे हमेशा कहती थी, "भईया! आप खुद को इतना क्यों बिजी रखते है? आराम क्यों नहीं करते?”


वे बस मुस्कुरा कर रह जाते थे। धीरे-धीरे समय बीतता गया पर मैं अभी भी यही सोचती कि भैया इतना काम क्यों करते है? जब मैं अपने भैया के लिए बड़ी हो गई। मैंने फिर पूछा,"अब तो बता दीजिए।"


"तुम भी एकदम पीछे पड़ जाती हो।ऐसा कुछ नहीं है। काम है तो करूँगा ही।"


"नहीं! भईया। आजकल जहाँ सभी आराम करना चाहते है। अपना काम भी कोई नहीं करना चाहता। वहीं आप दूसरों के काम भी अपने जिम्मे ले लेते है। मैं भी थक जाती हूँ तो काम करना बंद कर देती हूँ पर आप कभी नहीं रूकते। कितनी भी गर्मी हो या ठंड हो।कभी मना नहीं करते।"


"बस, बस, इतना भी महान मत बनाओ मुझे। एक ही बात रहती है कि, फालतू की बात सोचने या आलस करने से अच्छा रहता है कि कुछ काम कर लो। क्योंकी, मेहनत कभी बेकार नहीं जाती। ये बात हमेशा याद रखना। मैं ऐसे भी कम बोलता हूँ तो कोई मुझसे बात नहीं करता। इसलिए खाली बैठने से अच्छा है कि मैं काम ही कर लूँ। और फिर सब खुश तो मैं भी खुश। बस और कुछ नहीं। यही कारण है कि आज कोई कहे कि आराम कर लो तो मुझे उलझन होने लगती है।समझी।"


"समझ गई भईया। पर ये मत कहिएगा कि आपसे कोई बात नहीं करता। आज से मैं आपसे बातें करूँगी।" भईया की ये बातें कब मेरे दिल में गहरी बैठ गई, मेरे लिए प्रेरणा का स्रोत बन गई, पता ही नहीं चला।


आज मैं भी खुद को हर पल व्यस्त रखती हूँ। आराम करती हूँ तो लगता है समय का नुकसान हो रहा। पर एक बात है व्यस्त रहती हूँ, तो खुश रहती हूँ और मस्त रहती हूँ।


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