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Neelam Sony

Drama Romance Crime

3  

Neelam Sony

Drama Romance Crime

बिश्नपुर_खादर_ 7

बिश्नपुर_खादर_ 7

3 mins
208

अगले दिन जब दोनों कालेज से वापस आई तो चाय पीते पीते ही किवाड़ खड़का..... रज़िया ने भागकर दरवाजा खोला.... दरवाजा खुलते ही सलमान अंदर आ गया..... रज़िया ने किवाड़ लगा दिया... सलमान ने अंदर आते ही अंजलि को सलाम किया और साथ वाले कमरे में घुस गया....


"मैं चलती हूं...." अंजलि ने चाय का कप रखते हुए घबराकर कहा.....


" अरे बैठ ना.... तुझे खा रहा है कोई..." बांह पकड़ कर बिठाते हुई रज़िया बोली.... अंजलि बैठ गई..... 


सलमान अभी भी अंदर बैठा हुआ था....


"उसे चाय देकर आती हूं..." कहते हुए रज़िया बची हुई चाय गर्म करने लगी.... अंजलि अब भी घबरा रही थी...


रज़िया चाय देने गई तो थोड़ा समय लगा कर होंठ पोंछते हुए बाहर आई... बाल भी बिखरे हुए थे थोड़े से.... जैसे कोई बिल्ली मलाई चाट कर आई हो....


थोड़ी देर में सलमान चला गया.....


"मैं ना आ रही कल से..." शाम को अंजलि चलते हुए बोली.... 


" तुम से कोई कुछ कह रहा क्या... फ़िक्र ना कर... कुछ ना होगा...." रज़िया दिलासा देते हुए बोली....


अगले दिन अंजलि के मना करते करते भी रज़िया उसे साथ ले आई.... पहले दिन की तरह ही सलमान फिर आ गया.... इस बार रज़िया चाय देने के बहाने अंदर गई तो कमरे की सांकल लगा कर 15-20 मिनट बाद बाहर आई.. पीछे पीछे ही सलमान बाहर आया और अंजलि से नज़र मिलाए बिना ही बाहर निकल गया....


अंजलि जवान थी और सब समझती थी... फिर भी आश्वस्त थी कि शरीफ़ लड़का है.... जिसने उस की तरफ़ आंख उठाकर भी नहीं देखा.....


अगले दिन रज़िया के अम्मी अब्बू वापस आ गए.... जिंदगी अपने पुराने ढर्रे पर चलती रही..... अब फर्क सिर्फ इतना था कि दोनों सहेलियों की बातचीत का केंद्र सिर्फ पढ़ाई ना होकर कभी कभी सलमान या फिल्म भी होने लगा था... शुरू में ऐसी बातों से शर्माती अंजलि अब कुछ कुछ खुल कर बात कर लेती थी.....


बीच में अंजलि तीन चार बार ही रज़िया के घर गई.... फिर एक दिन रज़िया जबरदस्ती करके उसे अपने घर ले गई...


"अम्मी कहां है....??? अंजलि ने पूछा


"मामू का चालीसवां है आज तो वहां गई हैं.... रज्जाक भी साथ गया है...." कहते हुए रज़िया ने चाय के लिए पानी रख दिया...


दोनों चाय पी रहीं थी तभी सलमान आ गया.... आज उसके साथ उसका दोस्त जावेद भी था, जो पहले दिन साथ आया था... सलमान ने हाथ उठाकर अंजलि को आदाब बजाया, दूसरे लड़के ने भी अपने सिर को हल्की सी जुंबिश दी.... फिर दोनों साथ वाले कमरे में चले गए.... 


जब रज़िया चाय लेकर उनके कमरे में गई तो जावेद चाय का कप लेकर सीढ़ियां चढ़ते हुए ऊपर कमरे में चला गया... 15-20 मिनट बाद रज़िया बाहर आ गई, पीछे पीछे ही सलमान बाहर आया और चौबारे में से जावेद को साथ लेकर बाहर चला गया.... थोड़े समय बाद रज़िया की अम्मी भी आ गई...अंजलि भी अपने घर आ गई....


अब जब भी अंजलि कालेज जाती या वापस आती तो गाहे बगाहे जावेद कहीं ना‌ कहीं उसे दिख ही जाता.... लेकिन ना कभी उसने आंख उठाकर उसकी तरफ़ देखा और ना ही कोई हरकत की...


अब अंजलि और रज़िया की बातचीत के समय सलमान के साथ साथ कभी कभी जावेद का जिक्र भी होने लगा.... रज़िया उसकी जी भरके तारीफ करती कि कैसे छोटी उम्र से ही जावेद ने इतनी मेहनत करके घर खड़ा कर लिया, स्कूटर ले ली... बहन की शादी कर दी .... 


शुरू में तो अंजलि को कोई इंटरेस्ट नहीं था, पर धीरे धीरे जावेद के बारे में जानना उसे अच्छा लगने लगा.... अब कहीं जावेद उसे दिख जाता तो थोड़ा गौर से देखती... कभी कभी जावेद भी उसकी तरफ़ देखता दिखाई देता तो झट से आंखें फेर लेती....


क्रमशः


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