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રાઠોડ જાગૃતિ "કૃષ્ણા"

Romance Others

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રાઠોડ જાગૃતિ "કૃષ્ણા"

Romance Others

याद आती है!

याद आती है!

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खता नहीं तुम्हारी कोई भी,

बस गिला है तो खुद से है।


नहीं समझा सकते हम तुम्हें,

कि क्या रिश्ता मेरा तुमसे है।


हाँ, गलत समझा था कभी,

तो क्या हुआ, भरोसा नहीं?


खुद से ज़्यादा विश्वास था,

आज भी है और रहेगा तुम पे।


नहीं जानते क्यों, किसलिए ,

खुश देखना हैं तुम्हें इसलिए।


दिल करे तुम्हारा तो कहना,

याद आती है तुम्हें मुझ जैसे!


किसी दिन ऐसे ही चल बसे!

रंज रहे न कुछ कहा आपसे।।



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