समय
समय
समय बनाता है इमारत कभी कभी तोड़ता है इमारत
हर लम्हे की परख कराता हर इंसान की परख कराता
और कहता है यह मैं ही हूँ सबसे बलवान
कभी अँधेरी रात तो कभी चुभती हुई धूप
सबसे बड़ा है ये जिसका नाम समय है
समय बनाता है इमारत कभी कभी तोड़ता है इमारत
हर लम्हे की परख कराता हर इंसान की परख कराता
और कहता है यह मैं ही हूँ सबसे बलवान
कभी अँधेरी रात तो कभी चुभती हुई धूप
सबसे बड़ा है ये जिसका नाम समय है