प्यार
प्यार
बेटियां घर की लक्ष्मी होती हैं
जो नाज़ो से पाली जाती हैं
पापा की परी
मां की है लाडली
बहनो के गहनों से सजी
पर कब भाई के लिए बोझिल हो गई
पता ही नही लगा
ऐसी बेटियों को उनके भाई
चिता का आभूषण पहनाते हैं
और अपना बोझ उतारते हैं
न आहूति किसी की
न वरदान किसी का
न भाग्य भरोसे
न दान किसी का
वक्त लेगा करवट तब व्यंग्य भी होगे और कटाक्ष भी होगें
क्योकि धर्म का तराजू एक ओर नही रहता
आज पलडा तेरा भारी है कल ईश्वर का होगा....