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shekhar kharadi

Action Classics

4  

shekhar kharadi

Action Classics

महामारी

महामारी

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महामारी का प्रकोप ज़ारी है

जिंदगी बचाने का संघर्ष ज़ारी है


श्मशानों में शवों का जलना ज़ारी है

दु:खों का पहाड़ झेलना ज़ारी है


अपनों से बिछड़ना का दर्द ज़ारी है

आंसूओं का बेहिसाब बहना ज़ारी है


मौत को हराने की कोशिश ज़ारी है

श्वासों को रोकने की ज़िद्द ज़ारी है


दर्दीओं से बेतुका व्यवहार ज़ारी है

इलाज़ के नाम पर लख लूट ज़ारी है।


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