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Khushboo Pathak

Drama Inspirational

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Khushboo Pathak

Drama Inspirational

मेरी माँ

मेरी माँ

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बचपन की वो बातें आज भी साथ है

माँ का सिखाया हर सबक आज भी याद है

माँ के आँचल की ममता आज भी साथ है

धीरे-धीरे बोलने के मेरे प्रयास में

माँ के सिखाये वो पहले शब्द आज भी याद है

पहली बार माँ शब्द सुनकर माँ की वो

मुस्कुराहट आज भी याद है


डगमगा कर लड़खड़ा कर धीरे-धीरे चलने की

मेरी कोशिश में माँ का सहारा आज भी याद है

मुझे दुनिया में लाने से लेकर

मेरे पालन पोषण में माँ के त्याग और

बलिदान आज भी याद है

चलना फिरना, उठना बैठना, मिलना जुलना 

दुनिया के ये सारे दस्तूर माँ ने सिखाया

वो आज भी याद है


ज़िंदगी के पहले इम्तिहान में जाते वक्त

माँ का दही शक्कर खिला कर आशीर्वाद देना

आज भी याद है

पहला स्कूल, पहला कॉलेज, पहला इंटरव्यू ,

पहली नौकरी में मेरा डरना और माँ का बार बार

प्यार से समझाना आज भी वो एहसास मेरे साथ है

ज़िंदगी की मुश्किलों से परेशान होने पर

माँ का वो हौसला बढ़ाना 

कदम से कदम मिलाकर दुनिया का सामना करने का

सबक आज भी याद है


मुझे ज़िंदगी के हर इम्तिहान में अव्वल बनाकर 

नये तजूर्बे देकर, नये मुकाम तक पहुँचाकर

मेरी हिम्मत बढ़ाई 

ये एहसास आज भी मेरे साथ है

ज़िंदगी के उतार चढ़ाव से मायूस न होकर

नयी राह बनाने के सबक आज भी याद है

दिल को एहसास है मेरी माँ मेरे साथ है


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