STORYMIRROR

miss mannu

Romance Fantasy

3  

miss mannu

Romance Fantasy

ख्वाब

ख्वाब

1 min
126

सोचा 

कभी मुलाकात होगी तुमसे 

सपनों में नहीं 

हकीकत में। 

सोचा कभी मिलोगे तुम हमको 

हमें देखकर मुस्कुराओगे। 

लेकिन क्या कभी ख्वाब पूरा हुआ है 

जो मेरा ये सपना पूरा होगा। 


सपने तो हजारों देखें हमने आपके 

लेकिन आपसे मिलने की चाहत 

हमें मौत के करीब ले आई। 

आपसे मिलने की चाहत 

हमें अपनो से दूर ले आई। 

काश तुम हकीकत होते 

ख्वाब नहीं ! 

काश हम मिल पाते 

ख्वाब में नहीं 

हकीकत में। 



ഈ കണ്ടെൻറ്റിനെ റേറ്റ് ചെയ്യുക
ലോഗിൻ

More hindi poem from miss mannu

माँ

माँ

1 min വായിക്കുക

ख्वाब

ख्वाब

1 min വായിക്കുക

प्यार

प्यार

1 min വായിക്കുക

इंतकाम

इंतकाम

1 min വായിക്കുക

तेरे नाम

तेरे नाम

1 min വായിക്കുക

प्यार

प्यार

1 min വായിക്കുക

Similar hindi poem from Romance