जिंदगी क्या है?
जिंदगी क्या है?
अक्सर कहते सुना लोगों को,
जिंदगी क्या है ?
सब कहते रहे,
ना समझ सका कोई,
ये जिंदगी क्या है ?
जो जिया बचपन में,
वो जिंदगी, या घर का छोटा
बने रहना, वो जिंदगी
अपनों को प्यार करना जिंदगी,
या अपनों का प्यार पाना जिंदगी
अगर जख्म है इस जिंदगी में,
तो यही पे दवा है
जो ये भी नहीं जिंदगी तो
आखिर ये जिंदगी क्या है ?
सपनो से प्यार करना जिंदगी,
अपनों पे मरना जिंदगी
कॉलेज की मस्ती में जिंदगी,
किसी को दिल देना जिंदगी
गर पाना है कुछ यहां,
तो यही पे खोना है
जो ये भी नहीं जिंदगी,
तो ये जिंदगी क्या है ?
किसी से नाराज़ होना,
जिंदगी, रूठों को मनाना जिंदगी
किसी को खोना जिंदगी,
किसी का होना जिंदगी
खुश होना जिंदगी,
या रोना जिंदगी
ये सब मिलके ही तो,
होती है इक जिंदगी
अब जो इक भी कम पड़े,
तो वो जिंदगी ही क्या है
आखिर कुछ लम्हें जी के समझ आया,
ये जिंदगी क्या है ! ये जिंदगी क्या है !