झूठे लोग
झूठे लोग


सबको खुश रखने की धुन में
अपने मन को रूलाया है
दुनिया की इस भीड़ में
खुद को अकेला पाया है
सुख के सब साथी यहाँ
दुख में कोई ना आया है
अपने इस टूटे दिल को
आज फिर समझाया है
मतलब की इस दुनिया में
कोई ना तेरा अपना है
कुछ ना मिलेगा यूँ पिस के
क्यों जीता है घिस-घिस के
झूठे लोगों को भूल के
झूठी उममीदों को छोड़ के
अब अपनी सोच तू बदल ले
कुछ पल जी ले तू खुल के
मतलब की इस दुनिया में
अब तू भी जी ले खुश हो के।