STORYMIRROR

Gaurav Chhabra

Romance

4  

Gaurav Chhabra

Romance

जब... (होता है पहला प्यार ....)

जब... (होता है पहला प्यार ....)

1 min
266

जब सोचा तुमसे कुछ कहूं

शब्दों ने साथ छोड़ दिया


जब तुम्हारा रूप निखरा

हीरों ने चमकना छोड़ दिया


जब सोचा तुमसे आकर मिलूं

रास्तों ने मिलना छोड़ दिया


जब तुम्हारा सँवरना हुआ

फूलों ने खिलना छोड़ दिया


जब सोचा तुमसे कुछ सुनूं

पंछियों ने गाना छोड़ दिया


जब तुम्हारा आँचल लहराया

हवाओं ने बहना छोड़ दिया


जब सोचा तुमसे इज़हार करूँ

होंसलों ने परवाज़ छोड़ दिया।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Romance