STORYMIRROR

Reetu Devi

Romance

4  

Reetu Devi

Romance

इजाजत

इजाजत

1 min
274

दे दो आंखों में बसने की इजाजत।

दे दो रूह को मिलने की इजाजत।।


करती हूं तेरी इबादत दिन-रात

दे दो प्रेम करने की इजाजत।।


तुझ बिन बेरंग है मेरी जिंदगी

दे दो करीब रहने की इजाजत।


गुले गुलजार है जहां,पर मैं तन्हा

दे दो होंठों को चूमने की इजाजत।


तड़प रही हूं तुझे लगाने को गुलाल

दे दो बांहों में झूमने की इजाजत।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Romance