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PRADYUMNA AROTHIYA

Abstract Romance Tragedy

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PRADYUMNA AROTHIYA

Abstract Romance Tragedy

हरपल तेरे साथ चलूँ

हरपल तेरे साथ चलूँ

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मैं बनकर तेरी परछाई 

हरपल तेरे साथ चलूँ,

उम्र क्या 

उम्र के उस पार भी

मैं निभाने यह रिश्ता

जनमोजन्म का

हरपल तेरे साथ चलूँ।


जो दुःख की तपती दोपहरी

तुम्हारे हौसले रोके

मैं बनकर नरम साया छाँव का

हरपल तेरे साथ चलूँ,

जो सात फेरों का वचन


मैंने तुम्हारे साथ जाना

उसी अहसास का सच लेकर

हरपल तेरे साथ चलूँ।


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