दिल के जज्बात
दिल के जज्बात
दिल के जो जज्बात हैं
मोहब्बत में एक ऐसा एहसास है
उनको इस बात की खबर भी नहीं
हम उनके इश्क में यहाँ बर्बाद हैं
कई बार तुमसे मैंने यह कहना चाहा
पर न कोई अल्फाज मेरे पास है
अब तक ना खबर हुई तुम्हें
मुझे हर पल तुमसे मिलने की ही आस है
माना तेरे बगैर किसी चीज की कमी नहीं
पर तू नहीं तो दिल मेरा उदास है
मेरा जग सूना सूना है तेरे बगैर
नींद नहीं आंखों में सोचो क्या हाल है
जब वो आते दिल में एक कसक सी होती है
मेरे दिल के वो हर जज्बात को समझे
बस उनसे हमें यही आस है।