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Jai Singh(Jai)

Tragedy

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Jai Singh(Jai)

Tragedy

"बिना मांग उपहार"

"बिना मांग उपहार"

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बिना मांग उपहार दे , यह अजीब संकेत।

शंका पैदा कर गया ,सब हो गए सचेत।

सब हो गए सचेत ,मांग कृषक मनवायै।

थोप दिया कानून ,अब सभी रोष जतावै।

कह 'जय' रद्द हो नियम ,बना चर्चा वार्ता बिना ।

काम हो कल्याण का ,लागू न सर्वसम्मति बिना।

        


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