"बदला"
"बदला"
तेरी गीदड़ धमकी से,
हम कभी नहीं डरने वाले।
देश के खातिर बांध लिया कफन,
पीछे नहीं हटने वाले।
क्या चुन-चुनकर तू मार रहा,
तुझे शर्म नहीं आती है।
तू हमसे क्या टकरायगा,
36 इंच की छाती है।
एक-एक का बदला लेंगे,
अब तू तैयारी रखना।
तू ने किये जो कुकर्म,
उनका तू मजा चखना।
बलिदान हमारे वीरों का,
बेकार नहीं होने देंगे।
एक-एक के बदले में,
हम तेरे सौ-सौ सिर लेंगे।।