खुशी के आंसू
खुशी के आंसू


दरवाजे की घंटी की आवाज सुनकर रोमा--"कान्ता ( कामवाली ) जरा देखना कौन आया है।"
कान्ता थरथराते हुए--"बीबी जी पुलिससssss ।"
कान्ता की आवाज सुनकर रोमा भागती हुई आयी और देखकर ठिठकर खड़ी रह गयी ।रोमा के मन में कई उथल-पुथल होने लगा ।
ससुराल में सास ननद जेठानी सभी के ताने कानों में गूंजने लगी ।--"बेटी ही तो है और ऐसा प्यार लुटाती है जैसे बेटा हो । कभी-कभी ये भी मजाक कर ही लेते थे ।"
"मम्मा !!! यूँ ही देखती रहोगी ? क्या मुझे लगे नहीं लगाओगी ?"--काव्या रोमा के गले से लिपटती हुई --"ओ ! मेरी मम्मा !!!!!"
रोमा कुछ कह नहीं पा रही थी बस बेटी काव्या को इस वर्दी में पहली बार देखकर खुशी से आँखों से आंसू बहते जा रहे थे।