meghna bhardwaj

Romance Tragedy Fantasy

4.5  

meghna bhardwaj

Romance Tragedy Fantasy

बेगानी शादी में अब्दुल्ला दीवाना

बेगानी शादी में अब्दुल्ला दीवाना

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ये कहानी है रजत के प्यार की। रजत एक बहुत आवारा किस्म का लड़का था। उसका अपना कोई नही था। अकेलापन और गलत परवरिश ने रजत को गलत राह पर धकेल दिया था।

रजत की ज़िंदगी एंट्री होती है टीना की।टीना अच्छे से जानती थी कि रजत जैसे लड़को से कैसे निपटना है। टीना लंदन से लौटी थी।

रजत को पहली नज़र में ही टीना से प्यार हो गया था।लेकिन रजत टीना के घरवाले उससे अच्छे से वाकिफ थे।

रजत एक ऐसा प्लान बनाता है जिससे टीना के घरवाले भी मान जाएंगे और उसकी टीना से शादी भी हो जाएगी

आखिर क्या था रजत का प्लान,क्या टीना कुछ गलत तो नही करने जा रही थी

आइए मेरे साथ पढ़ते है इस दिलचस्प प्रेम कहानी को।।

रजत एक 23 साल का लड़का

अपने दोस्तों की जान,और बिगड़ी बाप की औलाद

रजत अपने दोस्तो की संगत में रहकर बड़े मशकरे किस्म का हो गया था।

आती जाती लड़कियों से बदतमीज़ी करना,सिगरेट पीना

उसके लिए आम था।

यहां तक कि 2 - 3 बार जेल तक जा चुका था।

रजत शुरुआत से ऐसा नही था

हालतों ने उसके साथ बहुत बड़े खेल खेले और वो उनसे हार गया।

दरअसल 5 साल पहले रजत के माता पिता दोनों का एक कार एक्सीडेंट में निधन हो गया।। रजत के पिता एक बहुत बड़े बिजनेसमैन थे,उन्होंने रजत के नाम करोड़ो की प्रॉपर्टी कर रखी थी। रजत अपने माता पिता का इकलौता बेटा था।

रजत का कोई नही था।

वो अपने ताऊजी के साथ रहता था। उसके ताऊजी ने उसे सिर्फ उसकी जायदात के कारण रख रखा था।

क्योंकि रजत के बाद उनकी सारी प्रोपर्टी उनके नाम हो जाएगी।

रजत अपने माता पिता के बाद से ही बहुत दुखी और अकेला रहता था।

लेकिन उसकी जिंदगी में कोई तो आने वाला था जो उसकी जिंदगी को खुशियों से भर देगा।

टीना पिछले हफ्ते ही लंदन से अपनी पढ़ाई पूरी करके कोलकाता लौटी थी।

टीना के फैमिली वालो और उसके आस पास के दोस्तो ने उसे बोला था

"टीना तुम उस रजत को तो जानती होगी,वो गुंडा मवाली

तू उससे दूर रहना। कभी उसके मुँह मत लगना।वो अच्छा लड़का नही,वो आये दिन आती जाती लड़कियो को तंग करता है"

"रिलैक्स,आप सब क्यों इतनी चिंता कर रहे हो,मुझे वैसे भी रजत जैसे लड़को में कोई इंटरेस्ट नही है। और उसने मेरे साथ कुछ बदतमीज़ी करी तो मैं अच्छे से जवाब देना जानती हूँ"

टीना एक खुले विचारों वाली और बोल्ड थिंकिंग वाली थी।

वो जानती थी उसे क्या करना चाहिए क्या नही।।

रजत के दोस्तो के बीच बात चलती है

"अरे वो मास्टरजी की लड़की के बारे में पता है,पिछले हफ्ते ही लौटी है लंदन से,कभी एक बार उससे मुलाकात तो हो"

"अरे रोनी वो अब यही तो रहने वाली है आज नही तो कल भेंट तो होगी"

और फिर कुछ दिनों बाद

एक दिन रजत और उसके दोस्त टीना को रोक लेते है।

"अरे मैडम रुको तो,यहां नई नई लगती हो।पहले कभी नही देखा"

"शायद किसी ने अभी तक किसी लड़के को एक लड़की से मार खाते हुए भी नही देखा हो आज देख लेगा"

"आप तो बुरा मान गयी,अरे हाँ ये मैडम तो लंदन रिटर्न्स है, चांटा भी अंग्रेज़ी में मारती होगी"

"हां, बिल्कुल मुझे हिंदी, इंग्लिश,फ्रांस,जापानीज और चाइनीज हर तरह चांटा मारना आता है,तुम बताओ तुम कौनसा खाना है"

"अरे अरे कोई सा भी,आप आराम से जाइये"

और वहाँ से टीना चली जाती है।।

"वाह टीना तूने तो एक बार मे इनकी बोलती बंद करदी"

"काजल हम जितना इनके आगे कमज़ोर पड़ेंगे ये उतना ही अपना झूठा बल दिखाएंगे"

अब रजत और उसके दोस्त टीना को कभी परेशान करने की सोचते भी नही।

ऐसे ही 3 महीने बीत जाते है।

और एक दिन जब टीना कहीं जा रही होती है।

रजत अपनी स्कूटी पे उसका पीछा करता है।

"टीना, रुको ना कबसे तुम्हारा पीछा कर रहा हूँ।तुम इतनी फ़ास्ट कार चलाती हो"

"तुम मेरा पीछा कर रहे थे,क्यों?"

"टीना, वो....मैं ये कहना चाहता था कि मैं......"

"ये वो मैं वो मैं क्या लगा रखा है,देखो तुम्हे तो कोई काम है नही। लेकिन मुझे बहुत काम है।तुम थोड़ा जल्दी बोलोगे तो अच्छा होगा"

"हम कॉफ़ी पीते पीते बात करे"

"कॉफ़ी। ठीक है मगर जल्दी मुझे काम है"

रजत और टीना CCD में कॉफ़ी पीने चले जाते है।

"हां, अब बोलो रजत क्या बात करनी थी तुम्हे।शायद कोई जरूरी बात है या उस दिन बेज़्ज़ती से पेट नही भरा और करवानी है😁"

"नही टीना वो बात नही है,और हां उस दिन के लिए मुझे माफ़ करदो। जो भी उस दिन हुआ "

"तो क्या बात है?"

"टीना मैं तुमसे प्यार करने लगा हूँ,पहली नज़र में ही तुम मुझे पसंद आ गयी थी,मैं जानता कि मैं एक बहुत आवारा किस्म का लड़का हूँ तुम क्या कोई भी लड़की मुझसे प्यार नही करेगी।

लेकिन टीना आज तक तुम्हें देखकर जो मुझे हुआ आज तक कभी नही हुआ,मैं तुम्हे चाहने लगा हूँ"

"रजत,तुम पागल हो गए हो? हम दोनों एक दूसरे को अच्छे से जानते तक नही है, कुछ महीनों की कभी कभार होती मुलाकात को प्यार नही कहते है। तुम्हे बस मुझसे लगाव है।

प्यार नही,प्यार जन्मों जन्मों का नाता होता है।उनमें कैसा प्यार जो एक दूसरे को जानते तक ना हो"

"टीना मैं मज़ाक नही कर रहा,मुझे तुम पसंद हो"

"वही तो मैं कह रही हूँ रजत की तुम्हे बस पसन्द हूँ,और पसन्द करना और प्यार करने दोनों में बहुत फर्क है"

"अच्छा मैं चलती हूँ,मुझे लेट हो रहा है,,बाय!!"

रजत सचमे टीना से प्यार करने लगा था,मगर टीना को कैसे यकीन दिलाता।।

टीना इस बात का जिक्र किसी से नही करती,वो अपने फैमिली वाले तक नही बताती

इस बात को कई दिन हो गए थे।

फिर एक दिन रजत का बाइक से बहुत बड़ा एक्सीडेंट हो जाता है।

जब टीना को ये पता चलता है।

वो सबसे छिपकर रजत को मिलने जाती है।।

"रजत कितनी चोट लगी है तुम्हे,बाइक ध्यान से चलानी चाहिए थी ना,तुम्हे समझ क्यों नही आता"

"ये जख्म तो बहुत छोटे है टीना, भर जाएंगे मगर एक जख्म कभी नही भर पायेगा।

जो जख्म जो तुमने मुझे दिया है,मैं तुमसे प्यार करता हूँ,तुम आख़िर क्यों नही समझती"

"रजत,तुम घूम फिर कर एक बात पर क्यों आ जाते हो,मैंने तुमसे पहले भी इस बारे में बात की है"

"टीना मैं जानता हूँ,की तुम भी मुझसे बहुत प्यार करती हो।मगर तुम्हारी आँखों मे झिझक है। अगर तुम्हें मुझसे प्यार ना होता तो मुझसे इस वक़्त मिलने नही आती"

"रजत तुम्हारी फिक्र थी इसलिए मैं आयी"

"टीना फिक्र उस ही कि होती है जिससे तुम्हे प्यार हो"

"तुम एक बार कहदो टीना की तुम्हे मुझसे प्यार नही है,मैं फिर वापिस कभी तुम्हे नही रोकूंगा"

"रजत मुझे भी तुमसे प्यार है,बहुत प्यार।मगर हमारा मिलना किस्मत में नही है। मेरे परिवार वाले बहुत ज्यादा संस्कारो वाले है,और तुमसे भी अच्छे से परिचित है।

तुम जानते हो जब मैं लंदन से लौटी थी उन्होंने सबसे पहले

मुझसे कहा था कि रजत से दूर रहना

ऐसे में मैं कैसे कहूँ उनसे की मैं तुमसे प्यार करती हूँ"

"मैं जानता हूँ टीना, मैं एक अच्छा लड़का नही हूँ मगर टीना हर कोई बनना नही चाहता। मेरी भी मज़बूरी थी।

बचपन मे माँ बाप हमेशा के लिए छोड़ गए,मैं बहुत अकेला हो गया,कोई नही था मेरा। कोई नही था बताने या समझाने वाला की क्या गलत है क्या सही। और मैं इन सब चक्करों में पड़ गया"

"लेकिन जब तुम मेरी ज़िंदगी मे आ जाओगी,मैं बदल जाऊंगा।

टीना बरसो से मुझे किसी अपने की तलाश थी। तुमसे मिलके लगता है कि वो तुम ही वो"

"मैं सब समझती हूँ रजत, मगर मैं अपने परिवार की मर्ज़ी के खिलाफ कुछ नही कर सकती।

आज मैं जो कुछ हो उन्ही की वजह से हूँ"

रजत टीना से वादा करता है कि वो उसके घरवालों को मना के रहेगा।

टीना मुस्कुराती है,और अपने घर चली जाती है।

टीना यही सोच रही थी कि अगर उसके घरवालों को पता चला कि वो रजत से प्यार करती है तो पता नही वो रजत का क्या हाल करेंगे।।

रजत बहुत सोचता है की आखिर कैसे टीना के घरवालों को मनाये।

रजत अगले दिन टीना को मिलने बुलाता है।

"टीना मैंने सब कुछ सोच लिया है,कैसे तुम और मैं एक हो सकते है।मगर तुम्हे मेरा साथ देना होगा।"

"रजत मैं तुम्हारा साथ दूंगी,बस तुम कभी मेरा साथ मत छोड़ना"

"टीना ध्यान से सुनो, मेरा एक दोस्त है अजय एक बहुत बड़ी कंपनी का मालिक। अजय तुम्हारे घर रिश्ता लेकर आएगा अपने माता पिता के साथ।

तुम अजय से शादी कर लेना।

और बाद में अजय तुम्हे तलाक देदेगा मैं और फिर मैं तुमसे शादी कर लूंगा"

"रजत इन सब मे बहुत रिस्क है,कुछ भी गड़बड़ हुई तो अच्छा नही होगा"

"कुछ नही होगा टीना मुझपर भरोसा रखो"

अजय टीना के घरवालों से मिलने जाता है। अजय अच्छा लड़का था,साथ ही एक बड़ी कंपनी का मालिक भी था।

टीना के माता पिता उस रिश्ते को मान जाते है।

और अजय और टीना की शादी हो जाती है।

शादी की पहली रात

अजय बाहर हॉल में सोता है

और टीना अंदर।।

अजय की माँ कहती है।

"अरे अजय कितना पागल है तू आज शादी की पहली रात है और आज ही बहु को अकेला छोड़ दिया,अरे मैं मरने से पहले अपने पोते का मुँह देखना चाहती हूं।और तू अगर यहां ऐसे अलग रहेगा। तो बस बढली तेरी पीढ़ी आगे"

और अजय की माँ उसे टीना के पास भेज देती है।

"टीना वो बाहर माँ ने मुझे देख लिया और अंदर भेज दिया,लेकिन तुम चिंता मत करो। मैं यहां जमीन पर सो जाऊंगा तुम बेड पर सो जाओ"

वो दोनों सो जाते है।।

रजत आधी रात गए टीना से मिलने आता है,और उसे खिड़की से आवाज़ लगाता है।

"टीना मैं यहाँ बस ये देखने आया था कही तुम्हारी नियत अजय को देख कर बदल तो नही गयी"

"रजत,तुम ऐसा सोच भी कैसे सकते हो"

"मैं मज़ाक कर रहा रहा,मुझे अपनी टीना पर पूरा भरोसा है"

"रजत तुम कब मुझे यहां से लेकर जाओगे,मुझे तुम्हारे बिन नही रहा जाता"

"टीना अभी तुम्हारी अजय से शादी हुई है,और इतनी जल्दी हम डाइवोर्स फ़ाइल नही कर सकते कम से कम 2 3 महीने तो रुकना होगा"

"2 3 महीने,रजत इतने दिनों तक मैं कैसे रहूंगी"

"मैं आऊंगा ना तुमसे मिलने हर रोज़"

अजय की माँ को इस शादी के पीछे का राज़ नही पता था।

वो टीना को अब अपने घर की बहू का दर्जा दे चुकी थी।

एक महीना बीत जाता है।

अजय को अब टीना अच्छी लगने लगी थी।

अजय और टीना एक दूसरे के साथ हँसी मज़ाक करते, कभी कभी अजय टीना को घुमाने ले जाता।आखिरकार सबकी नज़र में वो दोनों पति पत्नी थे।।

टीना के दिल मे भी अजय के लिए बहुत बार अपनापन जागा पर उसने उसे वही खत्म कर दिया,क्योंकि वो रजत के साथ कोई धोखा नही करना चाहती थी।।

एक दिन अजय की माँ गाँव गयी होती है।

अजय और टीना अकेले घर मे होते है।

रजत वहां आ जाता है।

"वो मुझे पता चला कि आंटी जी कुछ दिनों के लिए घर नही है,और तुम दोनों अकेले हो।इसलिए तुम इसका फायदा ना उठाओ।मैं आ गया।"

"रजत "तुम्हे नही लगता तुम कुछ ज्यादा ही शक कर रहे हो

तुम हमारे ऊपर इतना सा भी भरोसा नही तो क्या फायदा,तुम्हे किसी ने यहां देख लिया और माँ जी को बता दिया तो बहुत गड़बड़ हो जाएगी,तुम प्लीज यहां से चले जाओ"

"ठीक है जाता हूँ,मगर टीना जब भी नियत फिसले मेरे बारे में एक बार जरूर सोच लेना"

रजत वापिस चला जाता है।

अजय अपनी दोस्ती निभा रहा था और टीना भी अपना वादा।

अजय औऱ टीना दोनों ही हमउम्र थे,जवान थे और एक साथ एक ही कमरे में रह रहे थे।

इसके बावजूद उन दोनों ने कभी एक दूसरे से नज़दीकियां नही कायम की।

5 दिन बाद अजय की माँ गाँव से लौट आती है।

टीना कि तबियत बहुत खराब थी, उसे तेज बुखार था।

"अजय,बेटा बहु को एक सेकंड के लिए भी अकेला मत छोड़ना उसे कोई तकलीफ नही होनी चाहिए"

अजय टीना की बहुत देखभाल करता है। रात भर जाकर उसकी सिर पे गीली कपड़े की पट्टी रखता है।।

3 4 दिन के बाद टीना पुरी तरह स्वस्थ हो जाती है।

"अजय,इधर आओ तुमने मेरी कितनी देखभाल करी मैं जानती हूँ

और मैंने कई बार तुम्हारी आँखों मे अपने लिए प्यार देखा है। और सच कहूं तो मैं भी तुम्हे चाहने लगी हूँ"

"टीना मगर तुम जानती हो ना कि ये शादी के पीछे का कारण क्या है?तुमने रजत के लिए मुझसे शादी की है"

"तो क्या हुआ अजय,वो कुछ भी हो अब तुम्हरी पत्नी हो, मैं रजत को बोल दूंगी की मैं तुम्हे तलाक नही देना चाहती"

इन सब को दो हफ्ते बीत चुके थे।

रजत टीना से मिलने आता है।

"अजय अब तुम्हारी शादी को 4 महीना हो चुका है,अब तुम टीना को तलाक़ देदो,और मैं टीना से शादी कर लूंगा"

"नही,रजत मैं अब अजय को तलाक़ नही दे सकती,मैं अजय से प्यार करने लगी हूँ"

"टीना तुम्हारा दिमाग खराब हो गया है,टीना तुम भूल गयी जो हमारे बीच तय हुआ था।तुम्हारी अजय से शादी इसलिए हुई थी ताकि तुम और मैं बाद में एक साथ रह सके,और तुमने इससे सच्चा प्यार कर लिया"

"रजत तुम्हे तो मुझसे पहली नज़र में ही प्यार हो गया था ना,और मैं अजय के साथ 5 महीने से एक ही कमरे में,एक ही छत के नीचे राह रही हूँ।और मैं कोई सन्यासी नही हूँ,हो गया मुझे अजय से प्यार"

"अजय तू तो दोस्त के नाम पे दुश्मन निकला,साले तूने मेरी ही टीना को मुझसे अलग कर दिया,तूने ठीक नही किया"

"रजत तुमने क्या ये सब ठीक किया था,मैंने प्यार को पाने के लिए किसी और के साथ उसे बंधन में बांध दिया,तुम्हे पता है अगर मेरे लायक होते,तो इतने खेल खेलने की जरूरत ही नही पड़ती। मेरे पिता आसानी से मेरी शादी तुमसे करा देते"

रजत रोते हुए गुस्से में वहां से चला जाता है।।

"ये तुमने ठीक नही किया टीना,मैं प्यार करता हूँ तुमसे तुम उस अजय के साथ मुझे धोखा देकर कैसे खुश रहोगी"

अजय और टीना अब एक पति पत्नी का जीवन साथ गुज़ार रहे थे।

अजय एक दिन कही जा रहा होता है।

उसे रास्ते मे रजत मिलता है।

"रजत,की हालत ठीक नही थी।"

"अजय,मैं तुम्हारे आगे हाथ जोड़ता हूँ,टीना को मेरे पास वापिस भेज दो,अजय टीना के बिना मैं ज़िंदा नही रह पाऊंगा।इस दुनिया मे मेरा कोई नही है।टीना के आने से मेरी ज़िंदगी मे थोड़ी खुशियां लौटी थी। तुम्हे तो बहुत लड़कियां मिल जाएगी,मगर अजय मुझे टीना के अलावा कोई प्यार नही करेगा"

अजय कुछ ना कहते हुए वहां से चला जाता है।

"टीना, मैं किसी और की मोहोब्बत को छीनकर अपने लिए खुशियां नही सजा सकता। टीना तुम रजत का पहला प्यार हो,और रजत को तुम नही मिली तो शायद वो ज़िंदा ही ना रहे। टीना रजत चाहे कैसा भी हो मगर उसने हमेशा तुम्हारे सामने अपने आप को एक अलग रूप में ही दिखाया है,रजत की आंखों में पहली बार मैंने किसी के लिए इतना प्यार देखा और वो तुम हो"

"मगर अजय तुम भी तो मुझसे प्यार करने लगें हो,क्या तुम्हारे दिल को बुरा नही लगेगा"

"हां, मैं तुमसे प्यार करने लगा हूँ। मगर रजत से बढ़कर तुम्हे कोई प्यार नही कर सकता। मेरे लिए तुम बस मेरी अर्धांगनी बन कर रहोगी,लेकिन टीना रजत के लिए तुम उसकी पूरी ज़िंदगी हो।तुम्हारे सिवा उसका कोई नही है"

"अगर तुम सचमे मुझसे प्यार करती हो,तो टीना लौट जाओ रजत के पास"

अजय और टीना एक दूसरे से लिपटकर रोने लगते है,अजय टीना के बदन को चूमने लगता है,टीना अजय को नही रोकती उसका पूरा साथ देती है।।

एक आखरी बार अजय और टीना साथ थे।।

टीना फिर रजत के पास चली जाती है।

वो उसे आवाज़ देती है।

"रजत,मैं लौट आयी तुम्हारे पास। मुझसे मिलोगे नही"

रजत दौड़ता हुआ आता है

और टीना से कसकर गले लग जाता है।

"टीना आज मुझे मेरा सब कुछ मिल गया,तुम देखना टीना अब तुम मेरी ज़िंदगी मे आ गयी हो ना,अब मैं पुरी तरह से अपने आप को बदल दूंगा। और तुम फिर कभी मुझे छोड़कर मत जाना"

रजत टीना से शादी कर लेता है।।

रजत अगले महीने ही अपने नाम की प्रॉपर्टी बेच देता है।

और टीना और रजत मुम्बई के बड़े आलीशान घर मे रहने लगे जाते है।

दोनों को अपनी अपनी खुशियां मिल गयी।

रजत ने अपने आप को पुरी तरह बदल दिया था,वो अब टीना के साथ एक परिवार बसाने वाला था।।


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