ठहराव
ठहराव
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लिख दो सारे रंजोगम, दर्द
और परेशानियां कोरे कागज पर।
और उड़ा दो उन्हें खुले आसमान में
हवा के झोंके के साथ।
रफूचक्कर कर दो दिल का गुबार
क्योंकि पड़ाव और मंजिल में
होता है बस रफ्तार का ठहराव।