सुख-दुख
सुख-दुख
सुखों की आसमे,
दुखोसे दोस्ती की हमने...
दुखों से भी वफ़ा निभायी,
खुशियों की आसमे हमने...
क्या पता था हमे,
किमत मागी जायेगी खुशियो की हमसे...
सुना था दुख हमारा हमे साथ देता है,
सुख केवल छलता है हमें....
सब कहने की बाते है,
जिसपे बीती वही जाने...
सुख-दुख मन की स्थिती है,
वरना, जिनेवाले दुखो मे भी खुशिया
ढुंढ लेते है......!
