शिक्षक
शिक्षक
शिक्षक तमोहर प्रकाश है,
स्वछंद ,भाव,उच्च विचार है,
सुखद भविष्य की करे कामना,
शोध का रूप, हर लेता विकार है,
सुर्य सा कंचन करता संसार है,
नव अंकुरो का ये पालनहार है,
दृढ़ संकल्प शक्ति का संचार है,
देश के भविष्य का सृजनहार है,
गुरू स्वयं संपूर्ण ज्ञान का तत्व है ,
शिक्षक ज्ञान का मुख्य प्रसार है,
गुण - दोषों की करता विवेचना,
परिष्कृत करता हमारा अचार है,
पाठशाला का रचनाकार है,
बचपन को दे जाता आकार है,
शुद्धता, समानता का व्यवहार है,
कुरितियों, कुविचारों का प्रतिकार है,
ज्ञान चेतना कुशलता शिक्षा का प्रसार है,
आत्मा से जैसे शरीर का साक्षात्कार है,
कोमल जीवन को देता नव संचार है,
गुरू, शिक्षक की महिमा अपार है।
