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Rajput Vishal Bluvi

Romance

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Rajput Vishal Bluvi

Romance

सारा रंग बिखर जाता है

सारा रंग बिखर जाता है

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बस एक रंग को छोड़कर

जो रंग लागी तेरे ईश्क़ की 

लाली चादर ओढ़कर

रंग नहीं यह इन्द्रधनुष है

जिसमें सारे रंग मिले हैं

तेरे प्यार की रंगत से ही, 

इनमें सारे रंग घुले हैं

लाख की कोशिश रंग छुडाऊं

साबुन पानी काम न आया

जब जब इसे धोना चाहा

उतना इसको गाढ़ा पाया

शायद अब कोई और रंग ना

इस दिल पर अब चढ़ने पाए

तेरा ही बस रंग बिखरे 

जीवन मेरा हरा कर जाए...!



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