राजा रानी की कहानी
राजा रानी की कहानी


एक बार की बात है,
एक राजा था एक रानी थी,
एक बेटा था एक बेटी थी,
उन सबकी ग़जब कहानी थी
राजा बहुत अच्छा था,
रानी बहुत चालाक थी,
बेटी अच्छी लड़की थी,
बेटे की पूरी धाक थी
मुसीबत में कुछ मांगने,
कोई ग़रीब जब आता था,
बेटा उसे दुत्कार देता,
दुःख ही वो बस पाता था
ग़रीबों का ये हाल बेटी से,
देखा नहीं जाता था,
वो उन्हें कुछ दे देती थी,
जो उस से बन पाता था
माँ भी बेटे की तरह थी,
उसी का पक्ष वो लेती थी,
बेटी को वो डांट देती,
जब भी वो कुछ देती थी
अच्छे काम की ख़ातिर राज्य में,
बेटी का जो नाम हुआ,
बुरी आदतों की वजह से,
बेटा भी बदनाम हुआ
राज्य बहुत बड़ा था उसका,
राजा बहुत व्यस्त रहे,
सारी खबर पता थी उसको,
किसी को पर वो कुछ न कहे
उत्तराधिकारी चुनना था जब,
बेटा सबसे कहता था,
राज्य तो उसी का है अब,
इसी नशे में रहता था
अगले दिन एलान हुआ जब,
बेटे की तब हार हुई ,
राज्यभिषेक किया बेटी का,
उसकी जय जयकार हुई ।।