STORYMIRROR

Sumit. Malhotra

Inspirational

4  

Sumit. Malhotra

Inspirational

धूम्रपान क्यों

धूम्रपान क्यों

1 min
78


पिता जी आप इतनी सिग्रेट रोज पीते हैं,

नहीं जानते आप कि कितनी देती ये हानि।


धुंआ-धुंआ भर पी लेने से क्या पाते हो मजा,

जिंदगी है बहुत अनमोल, ना खुद को दो सजा।


आप है सब जानते, पर फिर भी ना मानते,

कितनी है ये खतरनाक और जहरीली।


हो जाते हैं इससे फेफड़े बरबाद,

खाओ कसम ना पियोगे आज के बाद।


रोग कितने ये आदत-ए-धुम्रपान करवाती,

इतनी जरूरी बात क्यों नही आपको समझ आती।


मुंह में हो जायेंगे जख्म, 

जो सह नहीं पाएंगे हम।


कैंसर जैसी जानलेवा बिमारी भी फैलाती,

पता नहीं सरकार फिर भी क्यों इस पर रोक ना लगाती।


कितने लोग गंवा देते हैं अपनी अनमोल जिंदगी इस धुम्रपान से,

छोड़ दोगे कसम खाओ लगाकर मुझे सीने से।



Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Inspirational