पल पल चाह रहा है दिल
पल पल चाह रहा है दिल
दिन हो या रात यहां तक
सपने में भी
पल पल चाह रहा है
मेरा दिल और
व्याकुल इंतजार
कर रहा हैं
कविता लिखने केलिए
एक आइडिया पाने को
क्योंकि कविता लिखना
अब सबसे बड़ा
जरूरत बन गया है
मुझे जीने केलिए
जैसे कि तन को
जिंदा रखने केलिए
खाना ,हवा और पानी
वैसे ही
मन और रूह को
ताजा रखने केलिए
कविता लिखना .....
मेरे यार ! अब तो
मैं सोच भी नहीं सकता
बिन कविता के जीवन को
कविता तो मेरा प्यार है
दिल की चैन है
जो कभी भी मरता नहीं
दिन पर दिन
वो बढ़ता ही जाता है
और
ऐसे ही बढ़ता चलेगा
अंतिम दम तक ....
चाहे मैं अपनी
प्रिया के पास हूं
महफिल में हूं
या फिर हूं
बिलकुल अकेला
हर हालात में
वो मेरा पास ही रहेगा
एक आश्वासन बन कर
और देगा मुझे सहारा
इसीलिए मेरे यार !
ये दिल हर पल
लिखना चाहता है कविता
किसी की रुनझुन
पायल की झंकार
चूड़ियां की खनक
और झुमका की झनक
सुनना चाहता है
ये दिल बार बार
किसकी माथे की
बिंदिया बनना जो चाहता है
प्यार में होकर
मस्त मगन
कविता लिखते रहे हम
और खुद भी
कविता बन जाते हैं ...!