ओ री वुमनिया
ओ री वुमनिया
वुमनिया जो काम ऐसे करती जो लगते हैं बड़े मजेदार,
जीवन की धूरी घूमती इसके ही इर्द-गिर्द ऐसा है किरदार ,
अच्छे –अच्छे को नाकों चने चबवा दे जोश भरा जबरदस्त ,
आँखों के इशारे ऐसे लगते बिना हथियार ही कर दे घायल,
बातों में ऐसी चटरपटर किसी को भी कर दे अपना कायल,
ऐसी नाजुकता और ऐसी चपलता दिखती है वुमनिया में ,
सर झुक जाए सामने इसके इस जैसा नहीं कोई दुनिया में ,
सुन्दरता की लगती वो रानी पर बिना मेकअप बहुत पुरानी ,
हर घर की रखती खबर सुनाती पूरे मौहल्ले को सबकी कहानी ,
गूगल बाबा से भी तेज दिमाग इस वुमनिया का चलता है ,
पति की जेब ढीली करने को दिल इसका हमेशा मचलता है ,
देखो जब इनको हमेशा संवेदनाओं से भरा रहता इनका दिल,
पति को प्यार से ज्यादा मिलता इनके शोपिंग के खर्चों का बिल,
कोई उम्र पूछ ले इनकी तो अक्सर 10 वर्ष कम ही बताती है ,
न जाने कोई भेद इनके दिल का, जाने क्या -क्या छिपाती है ,
शादी हो या पार्टी किसी की इनका रूप अलग ही निखरता है ,
हाई प्रोफाइल का मेकअप अपने मुँह पर जरुर जंचता है I
लिपस्टिक ,काजल और लाली लगाकर लगती है बड़ी मतवाली,
पति देव भी थर –थर काँपे जाये जब चिल्लाये उसकी घरवाली ,
इसलिए तो कहते घर हो या बाहर हर जगह तू ही तू छाई है
जय हो तुम्हारी ओ री वुमनिया तू लगती बड़ी हाई फाई है I
