नारी=शक्ति
नारी=शक्ति
असंभव भी संभव करे।
कर्म करने से जो ना डरे।
धर्म की जो रक्षा करे।
वेद ब्रमांड भी जिसे नमन करे।
ग़म भी जो हँसकर सहे।
मर्यादा की जो मिसाल बने।
जननी बन दुलार करे।
सहनशाक्ति का श्रृंगार करे
नारी शक्ति से संसार चले।
