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CA Yatin Arora

Drama Romance

5.0  

CA Yatin Arora

Drama Romance

मोहब्बत ये

मोहब्बत ये

1 min
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पत्तों को पेड़ों से,

सूरज को आसमान,

बारिश को बादल से,

होना तो है जुदा।


सरहदों-सी ही लग रही,

अपनी भी दूरियाँ,

एक झलक माँगी थी तेरी,

माँगा था ना खुदा।


झोंका था जो ठंडी हवा का,

अब दिल जलाए क्यों,

अब जो भी चाहे, जितना भी चाहे,

फिर भी रुलाए वो,


मोहब्बत ये, हो जाए तो !

मोहब्बत ये, हो जाए तो !


दिल में अक्सर है चुभता,

कर न पाए बयान,

दर्द कैसा है ये जो,

दूरियों में रवा।


तुझको चाहने की गलती की थी,

जो लगती है अब गुनाह,

रेत के घर से ढह गया क्यों,

मेरा वह आशियाँ।


चाहूँ मैं खुद को भी भूल जाऊँ,

तुझको बुलाए जो,

अब जो भी चाहे, जितना भी चाहे,

फिर भी रुलाए वो।


मोहब्बत ये, हो जाए तो !

मोहब्बत ये, हो जाए तो !


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