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Krishna Khatri

Romance

3  

Krishna Khatri

Romance

महकने लगता है !

महकने लगता है !

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जब भी आता है बसंत

महकने लगता है मौसम


चारों तरफ छा जाती बहारें

बहकने लगता है ये मन !


ऋतुओं की है रानी ये बसंती

पल-पल अपनी बात है कहती 


मन का सागर जब लहराता

बौरा जाता है ये मौसम !           


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