मौत
मौत
जीवन का कड़वा सत्य है
की जिसका जन्म है
उसका मरण भी है
कोई जल्दी जाता है
कोई देर से जाता है
जाने का सबका
कोई न कोई
बहाना बन जाता है
जाना सबको है
पर इस सच्चाई
से हर कोई घबराता है
काश कोई इसे
समझ पाता
हम सब को
एक दिन राख का
ढेर हो जाना है
मौत की गोद ने
गहरी नींद सो जाना है
जहाँ कोई कितनी भी
आवाज लगाये
हमे न सुन पाना है
