STORYMIRROR

नूपुर Noopur शांडिल्य Shandilya

Inspirational

4  

नूपुर Noopur शांडिल्य Shandilya

Inspirational

माँ प्रणाम

माँ प्रणाम

1 min
423

माँ की महिमा क्या करूँ बखान

माँ हर रूप में होती है महान


एक माँ हमारी-तुम्हारी सरल मना

धुरी घर की, रखती सबका ध्यान 

स्नेह की बाती जलती आठों याम 


एक हमारी भारत माँ तिरंगा परिधान

आंचल में समेटे हर प्रांत की पहचान 

इस पावन मिट्टी ने जन्मे वीर जवान


यशोदा मैया कान्हा की नित लेत बलैया

माखन-मिसरी भोग लगावे लाढ लङावे

उत्पात किये ऊखल से बांधे भोली मैया


धन्य धाय माँ पन्ना ममता का मान बढ़ाया 

मेवाड़ वंश की रक्षा में अपना पुत्र गंवाया

पत्थर रख कलेजे पर राज धर्म निभाया 


माँ दुर्गा महिषासुर मर्दिनी ने त्रिशूल उठाया 

जन जन के ह्रदय में व्याप्त भय दूर भगाया

माँ जगद्धात्री से जग ने अभय वरदान पाया।



Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Inspirational