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मोहनजीत कुकरेजा (eMKay)

Inspirational

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मोहनजीत कुकरेजा (eMKay)

Inspirational

खर-पतवार…

खर-पतवार…

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वक़्त हमेशा ख़ुद नहीं कटता 

कभी-कभी काटना पड़ता है!

जब प्यास लगे पर पानी ना हो

ओस को भी चाटना पड़ता है!


सिर्फ़ दुखों की बात करने से

बात कभी नहीं बना करती है 

लोग अपने हों या फिर पराये...

ख़ुशी को भी बांटना पड़ता है!


दिलों के दरमियां नज़दीकियां

मुश्किल से बना करती है मगर

दूरी कोशिश के बिना बढ़ती है

उसको ज़रूर पाटना पड़ता है!


गुलशन में फूलों के साथ साथ 

कांटें भी मिलते ही है अक्सर;

ख़ुशियाँ अकेली, ना ग़म तन्हा

दोनों को ही छांटना पड़ता है!


चिंता तो है जंगली घास-फूस 

ना चाहते हुए भी उग आती है,

ख़ुश रहना हो अगर जीवन में

खर-पतवार काटना पड़ता है!!


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