गलत
गलत
मैने इस घर को अपना माना क्या गलत किया?
सास, ससुर को माँ, बाप समझा क्या गलत किया?
तुम्हारी खुशी मेंअपनी खुशियाँ देखी क्या गलत किया?
जब अपना आत्मसम्मान खोया तो समझ आया,
खुदको सबसे कम आंकना गलत ही तो था
दूसरों के इशारे पर नाचना गलत ही तो था।
अपनी इच्छाओं को दबाना गलत ही तो था
अब समझ आया है तो गलती अपनी सुधारुंगी ।
संस्कारों के नामपर तुम्हारे गलत को,
सही करने में अब दिन नहीं गुजारूगीं
अब खुद से किया हर वादा पूरी शिद्दत से निभाऊँगी।
अब ससुराल के सितम सहना अपनी किस्मत नहीं बनाऊँगी।