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सामंत कुमार झा 'साहित्य'

Inspirational

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सामंत कुमार झा 'साहित्य'

Inspirational

देश मेरा

देश मेरा

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देश मेरा यूँ ही खुशहाल रहे,

आते-जाते हुए हर साल रहे,

तरक्की की राह जो पकड़ी है,

इस पर लगातार ही चाल रहे।


देश मेरा ये नाम हिन्दुस्तान है,

इसकी अलग ही पहचान है,

मेरे रग-रग में बसता है हिंद,

हिन्दुस्तान ही मेरी जान है।


तिरंगा ये हमेशा लहराता रहे,

हर कोई राष्ट्र गीत गाता रहे,

जैसी खुशियाँ मिली अभी तक,

ऐसी खुशियाँ हमेशा आती रहे।



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