अंदर की आवाज
अंदर की आवाज
सुबह सुबह जब देखा,
तेरा मासूम सा चेहरा।
लगा यूँ देखते ही रहें
इससे आगे और क्या कहें।
घूँघराले बाल तेरे,
आँखो में भरा ढेर सारा प्यार।
मिलते ही नजरों से नजर,
बेचैन दिलको मिले करार।
चाहत है मिलने की,
तमन्ना ये दिल की है।
खुदा से माँगा तुझे ही,
ख्वाहिश ये मन की है।
तुझे पाने के लिए मैंने,
बदल दिए अपने सारे अंदाज।
देती हैं दस्तक मुझको,
मेरे मन की अंदर की आवाज।