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Praveen Gola

Romance

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Praveen Gola

Romance

अजब से ख्यालों में खोये हैं तेरे

अजब से ख्यालों में खोये हैं तेरे

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अजब से ख्यालों में खोये हैं तेरे ,

ना चैन है और ना दिल को आराम ,

मत मदहोश करो अपनी बातों से हमे ,

ले ना पायेंगे अपनी जुबां से तेरा नाम।


तेरा सामने आने पर ये दिल मचल सा जाये ,

मेरे होठों पर बेताबी की झलक उभर जाये ,

तू जितना ज्यादा देर तक मुझसे मिलता जाये ,

मेरा तन और मन उतना ही तेरा होता जाये।


कभी मैं तेरे गठीले बदन को निहारूँ ,

तो कभी तेरी नजरों से खुद को बचा लूँ ,

कभी तेरी शरारती बातों से खुद को हँसा लूँ ,

तो कभी मन ही मन तेरी आरती उतारुँ।


तेरे साथ बिताये पल मुझे जीने नहीं देते ,

तेरे ख्यालों को अपने भीतर समेट लेते ,

मैं भागना भी चाहूँ तो भी भाग ना पाऊँ ,

तेरे इश्क के समुन्दर मुझे अपनी ओर लेते।


ये मदहोश बातें दिल~ओ ~दिमाग पर छा जायें ,

जितना भुलाऊँ इनको ये और याद आयें ,

अजब से ख्यालों में सच खोये हैं तेरे ,

क्यूँ नहीं ले लेते चलो अग्नि के संग फेरे ? 



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