योग तुम्हारी जय हो
योग तुम्हारी जय हो
इस राष्ट्र समर्पित तन मन धन,
और जीवन मंगलमय हो।
योग तुम्हारी जय हो,
योग तुम्हारी जय हो।।
क्लेश कष्ट अब दूर हों सबके,
कोई रोग न भय हो।
योग तुम्हारी जय हो,
योग तुम्हारी जय हो।।
कीर्तन प्रभु का करें हृदय से,
जन जन भक्तिमय हो।
योग तुम्हारी जय हो,
योग तुम्हारी जय हो।।
सबल बनें सब अपने त
न से,
मन भी साहसमय हो।
योग तुम्हारी जय हो,
योग तुम्हारी जय हो।।
जूनियर हो या हो सीनियर,
कुछ भी न उलझनमय हो।
योग तुम्हारी जय हो,
योग तुम्हारी जय हो।।
नहीं किसी को कष्ट हो हमसे,
बोलचाल मधुमय हो।
योग तुम्हारी जय हो,
योग तुम्हारी जय हो।।