वो माँ थी
वो माँ थी
वो माँ थी
जो चल रही थी
बेटे को गोद लिए
सर पे अपने
गरीबी का बोझ लिए
वो माँ थी
जो चल रही थी
जिसके पेट में
नहीं था अन्न का दाना
उस माँ को
बहुत दूर था जाना
वो माँ थी
जो चल रही थी
जो थी भूखी
जो थी प्यासी
बेटे को प्यास लगी
तो अपने आँसू पिला दिए
वो माँ थी
जो चल रही थी
जिसके सर पर
नहीं था साया धूप में
लेकिन
बेटे को था छिपाया
आँचल की ठंडी छाँव में
वो माँ थी
जो चल रही थी
पड़े थे छाले
उसके पाँव में
पूछ रही थी बेटा
तू ठीक है न।