तेरे ख्याल से
तेरे ख्याल से
जब मन उदास होता है
मन को गुदगुदाती हू
तेरे ख्याल से
अस्त व्यस्त होती हू
तो खुद को संवारती हू
तेरे ख्याल से
लंबी रात में जब आती नहीं नीद
तो तेरे ख्वाबों में खो जाती हूँ औऱ
जब जिंदगी बेमानी लगती है
तो जीने की ललक जगाती हू
तेरे ख्याल से
जब सूनी राहों पर
चलते चलते थक जाती हूँ
तो मंजिल को पा जाती हूँ
तेरे ख्याल से
जीवन में आए पतझड़ को
फिर मधुमास बनाती हूँ
तेरे ख्याल से।