शोर मचाते आती है
शोर मचाते आती है
सुर्ख चाँद की रौशनी शोर मचाते आती है
याद तुम्हारी संग अपने रोज़ ले आती है
तुम्हारी यादों के आने से यूँ तो कुछ नहीं होता
बस थके हुए चेहरे पर ताज़गी छा जाती है
कभी बहुत हैरान हुए कभी बहुत परेशाँ हुए की
कैसी किसी की याद में ज़िन्दगी गुज़र जाती है।