सबके खिले चेहरे
सबके खिले चेहरे


सबके खिले चेहरे
एक सुकून का सबब है
सबकी मीठी बातें
प्यार से लबालब हैं
तुम मिलो तो जीवन में
बहार ही बहार है
तुम हंसो तो जैसे
बारिश की
ठंडी फुहार है
मिलना तुम सब का
नई ऊर्जा दिलाता है
उमंग से जीने की उमंग
फिर फिर दिलाता है
आंधी तूफ़ान भी
मिलने की चाहत को
नहीं दबा पाता है
इसी लिए तो
मिलने के बहानों
और मिलकर ठहाकों
का मज़ा आता है
तुम सबके साथ
हसीन वादियों की छटा
और बढ़ जाती है
छोटी सी कोई छतरी
भी बड़ी सी नज़र आती है
सोचना तो होगा
कि ये संबंध
कहाँ से आया है
कैसे अद्भुत प्यार से
ईश्वर ने हमें मिलाया है।