STORYMIRROR

Jigyasu Lahariya

Action Inspirational

3  

Jigyasu Lahariya

Action Inspirational

सैनिक- एक देश सेवक

सैनिक- एक देश सेवक

1 min
14K


कार्य है ये सौभाग्य का ।

कर्म के अभिप्राय का।।


निज स्वार्थ से रहित।

देश सेवा के भाव का।।


है वीर है जो खड़े।

नित तीनों पहर रात-दिन।।


निज जीवन का जो त्याग कर।

छोड़ बैठे है क्षण आनंद भर।।


सियाचिन का हो सिरा।

कोई वीर दुश्मन से हो घिरा।।


दुश्मन का तब वो काल है।

साथ उसके महाकाल है।।


अंतिम पंक्ति का यही सार है।

इस देश पर सैनिक का उधार है ।।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Action