मेरी दोस्त मेरी माँ
मेरी दोस्त मेरी माँ
माँ से अच्छा कोई दोस्त नहीं है मेरा
किसी भी परेशानी का हल ढूंढने के लिए
मुझे यहाँ वहाँ नहीं भागना पड़ता
बस माँ से उस बारे में बात साझा करनी होती है
मुझे मेरी इच्छाओ का दमन नहीं करना पड़ता
क्यूँ कि मेरी माँ अब मेरा हौसला बन कर
मेरे साथ ख़डी है
मुझे दुःख में कोई कंधा नहीं ढूंढ़ने पड़ता
माँ का आँचल मेरे आँसुओ को पोंछने के लिए
हर पल तैयार रहता है
मेरी माँ जब मुझे प्यार से चूमती है
तो मुझे जो ख़ुशी महसूस होती है
उसे शब्दों में बयान नहीं किया जा सकता
सच में
माँ माँ ही होती है
माँ के समान कोई नहीं होता
तो फिर क्यूँ ना माँ को ही अपना दोस्त बनाया जाए।