मातृभूमि
मातृभूमि
मातृभूमि मातृभूमि मातृभूमि
नमन हो हमारी भारत भूमि।
इसी मातृभूमि पर हमारे,
राजा राम का जन्म हुआ।
जिन्होंने अपनी सच्चाई से,
बुराई का अंत किया।
हाँ ये वही भूमि है,
जिस पर न जाने,
कितने वीर शहीद हुए।
भारत माँ की आँखों से भी,
आँसू निकले होंगे,
जब शहीदों के रक्त
इस भूमि पर गिरे होंगे।
इसी मातृभूमि से हमारे
किसानों का घर च
लता है,
इसी भूमि पर वह अनाज उगाते हैं,
तब जाकर कहीं हमारा पेट भरता है।
और कई गरीबों के
घर चूल्हा जलता है।
अगर कुछ सीखना है तो,
बेशक अपनी मातृभूमि से सीखे,
जो बिना किसी भेदभाव के
हर जाति के लोगों को
अपने अंदर सजोये हुए है।
जिस प्रकार माँ की ममता के बिना
एक संतान अधूरी है,
ठीक उसी प्रकार
मातृभूमि की शान बिना,
हमारी जान(जीवन)अधूरी है।