करवटें
करवटें
करवटों
के
भीतर
सिसकियां
होती
हैं
तड़प
और
घुटन
होती
है
करवटों
के
भीतर
उबलता
प्रेम
होता
है
नफरतें
होती
है
टूटे
हुए
सपने
होते
हैं
मरी
हुई
ख्वाहिशें
होती
है
कसक
होता
है
दर्द
होता
है
एकाकीपन
होता
है
उफनती
निराशाऐ
होती
हैं
घबड़ाहटों
का
सैलाब
होता
है
न
खत्म
होने
वाली
चिंताएं
होती
हैं।