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Rabindra kumar Sahoo

Abstract Action

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Rabindra kumar Sahoo

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"इस देश की जनता"

"इस देश की जनता"

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     हर पल

     हर वक्त

    मरते दम तक

    सोचते रहते है

     रोटी, कपड़े और

    मकान की बारे मैं जो

    वो है इस देश की जनता ।

    जो जी कर भी

     हर वक्त मरता है

    शिक्षा, स्वास्थ्य के लिए

     हर पल जो

     जी कर भी मरता

     वो है इस देश की जनता ।

   

 गरीबी, बेरोजगारी से

      जो जी रहा है

     वो है इस देश की जनता

     प्यार, मोहब्बत में

      हर पल अपने दुःख को

     सह कर दुःख को सुख सोचकर

     जो हर गम को खुशी समझते हैं

    उसे इस देश की जनता कहलाता है।

    

हर निराशा मैं आशा कि किरण

     को देखने वाला

     हर संकट मैं सबने सबकी

     मदद करने वाला

    वह और कोई नहीं

    वह है हमारी इस देश की जनता ।

    

नेता की द्वारा शोषित,

         प्रताड़ित होने वाला

     बुद्धिजीवी और ज्ञानी पंडित

     व्यक्तियों की द्वारा लान्छित और

       दण्डित होने वाला वह और

       कोई नहीं वह है

       इस देश की जनता ।

      

बेरोजगार मैं सड़ना

      कृषि क्षेत्र मैं आत्महत्या

       कर के मरना

        भूखा, नंगा रह कर जीना

       वह और कोई नहीं

       वह है हमारी 

      इस देश की जनता ।

    

 अनपढ़ हो कर रहना

      उत्तम स्वास्थ्य

        न पाने से मरना

     खाद्य, वस्त्र, रोजगार, स्वास्थ्य,

      शिक्षा के लिए हर पल

    शासन, प्रशासन के साथ लड़ना

    ज्ञान, विज्ञान की विकास के लिए

     हर पल जो लड़ता है

     वह है इस देश की आम जनता ।

    

 नेतृत्व को जगाना,

        शासन कल को जगाना

      प्रशासनिक अधिकारियों को

     जागने और जगाने वाले

      और कोई नहीं

      इस देश की आम जनता है ।

       

    


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