"सुनो नौजवान"
"सुनो नौजवान"
ए देश है
हमारे मातृभूमि
ए है हमारी कर्म भूमि
ए हमारी जन्मभूमि
हम सबका पहला
कर्म और धर्म है
हमारी मातृभूमि की
रक्षा करना
मातृभाषा, मातृभूमि की
पूजा करना
तुम हो देश के रक्षक
तुम हो देश के सेवक
तुम ही हो ए देश की
भाग्य भविष्य
तुम ही तो देश की
पहली पहचान
सुनो सारे नौजवान।
पढ़ लिख कर बनो इन्सान
मातृभूमि का रखो सम्मान
मातृभूमि का करो पूजन
शिक्षा, संस्कृति , स्वाभिमान
सबके तुम ही हो पहचान
भ्रष्टाचार, दुर्नीति की विरुद्ध मैं
तुम सब लड़ना
तुम ही हो सब देश के
सच्चे इंसान
मातृभूमि, मातृ भक्ति की
तुम ही हो नाम और निशान
तुम ही मुर्दों को
बना सकते हो जिन्दा
तुम ही हो इस देश की
भगवान के रूप में
सच्चे इंसान
सुनो मेरे सारे नौजवान।
सुभाष, गांधी और
भगत की देश है
यही तुम्हारी पहचान
विवेकानन्द, विनोबा का
देश है ये
राम, क्रिष्णा यहां
जनम लेते थे
बनकर ही इन्सान
ये मिट्टी है सबसे अलग
सबसे प्यारा है हमारे
जन्मस्थान
सुनो सारे नौजवान।
हर माताओं की
हर बहनों की
रक्षा करना तुम्हारे ही
कर्तव्य है
इन्सान की रूप मैं
तुम सब हो भगवान
सुनो सुनो मेरे प्यारे
नौजवान।
ये पुण्य भूमि, ये देव भूमि
हम सब को उसका
करना है सम्मान
देश के लिए,
इसी जाति के लिए
अपने जान को आप
सब को करना चाहिए कुर्बान
सुनो सुनो मेरे प्यारे नौजवान।
सबका साथ
सबका विकास करना
तुम सबका धर्म है
गरीबी, बेरोजगारी
हटाने के लिए
तुम सब संकल्प करके
झुण्डों आप की कर्म संस्थान
तुम ही हो देश
तुम ही हो परिवेश
तुम ही हो
ये देश और जाति की
पहचान
सुनो मेरे प्यारे नौजवान।
